सोनभद्र: इंग्लिश मीडियम स्कूलों की हकीकत, डीएम के निरीक्षण में खुलासा


रिपोर्ट- जितेन्द्र कुमार मौर्य जनपद सोनभद्र- PMS 24 News

सोनभद्र जनपद में इंग्लिश मीडियम स्कूलों में चल रही पढ़ाई के दावों की हकीकत डीएम के निरीक्षण में खुलकर सामने आ गई। पटवध स्थित इंग्लिश मीडियम प्राथमिक विद्यालय में जिलाधिकारी बी. एन. सिंह के अचानक निरीक्षण के दौरान बच्चे ABCD तक नहीं सुना सके।

बौद्धिक स्तर परखने पहुंचे डीएम बच्चों के जवाब सुनकर सख्त हो गए और अब पूरी शिक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े हो गए। सोनभद्र के पटवध इंग्लिश मीडियम प्राइमरी स्कूल में शनिवार की सुबह उस वक्त हड़कंप मच गया, जब जिलाधिकारी बी. एन. सिंह अचानक कक्षा में पहुंच गए।

डीएम ने जब कक्षा-1 और 2 के बच्चों से अंग्रेज़ी के अक्षर सुनाने को कहा तो कई बच्चे "A for Apple" के आगे कुछ नहीं बोल पाए। एक बच्ची ने तो "B" को "D" बोल दिया, जिसे सुनकर डीएम ने नाराजगी जताई।

शिक्षकों ने सफाई दी कि कोरोना के बाद बच्चे कमजोर हो गए हैं, लेकिन डीएम ने इसे जिम्मेदारी से बचने वाला तर्क बताते हुए फटकार लगा दी। निरीक्षण के दौरान एक शिक्षक बिना सूचना के अनुपस्थित मिला, जिस पर जिलाधिकारी ने नोटिस जारी करने का आदेश दिया।

डीएम ने स्कूल प्रिंसिपल को 15 दिन के भीतर शिक्षण स्तर सुधारने की सख्त चेतावनी दी। उन्होंने साफ कहा कि सिर्फ इंग्लिश मीडियम का बोर्ड लगा देने से शिक्षा इंग्लिश मीडियम नहीं बन जाती।

निरीक्षण के दौरान मिड-डे-मील की रसोई में साफ-सफाई और संसाधनों की कमी भी मिली, जिसे लेकर जिलाधिकारी ने तत्काल सुधार के निर्देश दिए।

डीएम बी.एन. सिंह ने यह भी घोषणा की कि अब जिले के सभी सरकारी इंग्लिश मीडियम स्कूलों की पढ़ाई और शिक्षण गुणवत्ता की विशेष जांच टीम बनाई जाएगी। इंग्लिश मीडियम नाम का तमगा लगाकर शिक्षा का स्तर ऊंचा नहीं होता, यह संदेश जिलाधिकारी का दौरा अब पूरे जिले में चर्चा का विषय बन गया है।

अब सवाल यह है कि जब 'A for Apple' तक बच्चे नहीं बोल पा रहे, तो इन स्कूलों की इंग्लिश मीडियम पहचान आखिर कितनी सच्ची है?

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